पुर्णिया – जिला कार्यक्रम पदाधिकारी स्थापना ने चयनित अभ्यर्थियों के साथ किया धोखा, संघ ने उठायी जांच की मांग
बिहार राज्य प्राथमिक शिक्षक संघ (गोपगुट) द्वारा एक प्रेस विज्ञप्ति जारी की गई। इस दौरान संघ के प्रधान सलाहकार अरविंद कुमार सिंह ने बताया कि प्रखंड बड़हरा कोठी के पंचायत नियोजन इकाई सुखसेना पूर्व और ओरलाहा, जहां अभ्यर्थियों द्वारा बाधा उत्पन्न करने के कारण काउंसिलिंग कार्य स्थगित कर दिया गया।
जिला कार्यक्रम पदा. (स्थापना) पूर्णिया संजय कुमार को इस आशय की जानकारी रहने के बावजूद भी पंचायत नियोजन इकाई सुखसेना और ओरलाहा के 37 अभ्यर्थियों का फर्जी चयन मान कर उनके चयन को रद्द करने के लिए निदेशक (प्रा. शि.) शिक्षा विभाग बिहार पटना को अनुशंसित कर दिया है।
वहीं दुसरी तरफ प्रखंड बड़हरा कोठी के पंचायत नियोजन इकाई लतराहा, लक्ष्मीपुर और पटराहा में 42 चयनित अभ्यर्थियों का चयन विधिवत और शांतिपूर्ण हुआ। चयनोपरान्त काउंसिलिंग पंजी पर सभी सक्षम प्राधिकार ने अपना-अपना हस्ताक्षर कर काउंसिलिंग पंजी को अंतिम रूप देते हुए कुल 42 चयनित अभ्यर्थियों से सक्षम प्राधिकार द्वारा मूल प्रमाण पत्र ले लिया गया।
तत्पश्चात 42 चयनित अभ्यर्थियों को सक्षम प्राधिकार द्वारा काउंसिलिंग प्राप्ति रसीद उपलब्ध करा दिया गया। इस प्रकार उक्त 42 चयनित अभ्यर्थियों ने यह मान लिया कि ” हमलोगों का चयन शिक्षक पद पर हो गया और अब विद्यालय आवंटित होना बांकी है।” काउंसिलिंग व्यवस्था द्वारा चयनित अभ्यर्थियों की यही सच्चाई है।
एक तरफ काउंसिलिंग/चयन प्रक्रिया पूर्ण होने के पश्चात चयनित अभ्यर्थियों के विरुद्ध प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी बड़हरा कोठी अपने कार्यालय पत्रांक 215/14.08.2021 में “आदर्श आरक्षण रोस्टर का अनुपालन नहीं किया गया है” आरोप लगा कर जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना) पुर्णिया को प्रेषित कर इन अभ्यर्थियों के काउंसिलिंग/चयन को रद्द करने की दिशा में कार्रवाई करने के लिए अनुरोध किया और दुसरी तरफ चयनित अभ्यर्थियों का नाम NIC के पोर्टल पर नहीं डाला जिसके कारण जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना) पुर्णिया द्वारा पंचायत नियोजन इकाई लतराहा, लक्ष्मीपुर और पटराहा में 42 शिक्षक पद को रिक्ति घोषित कर दिया गया।
जबकि जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना) पुर्णिया द्वारा इन चयनित अभ्यर्थियों के चयन को रद्द करने के लिए निदेशक (प्रा.शि.) शिक्षा विभाग बिहार पटना को अनुशंसित नहीं किया है। इस प्रकार माने तो प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी बीकोठी और जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना) पुर्णिया पूर्वाग्रह से ग्रसित हो कर अपने पद और सरकार द्वारा प्रदत्त शक्तियों का भ्रष्ट दुरुपयोग कर इन 42 चयनित अभ्यर्थियों के भविष्य के साथ खिलवाड़ किया है। जिसके कारण चयनित अभ्यर्थी सड़क पर भटक रहे हैं।
मीडिया के माध्यम से जिला शिक्षा पदाधिकारी पुर्णिया, निदेशक (प्रा.शि.) शिक्षा विभाग बिहार पटना एवं अपर मुख्य सचिव शिक्षा विभाग बिहार पटना से हम इस मामले की उच्च स्तरीय जांच की मांग करते हैं ताकि इन चयनित बच्चों न्याय मिल सके।
संवाददाता – शिवाजी राव